मारुति सुजुकी इंडिया ने बनाया कीर्तिमान, 30 लाख वाहनों का किया निर्यात
नई दिल्ली। देश की सबसे बड़ी कार कंपनी मारुति सुजुकी इंडिया
लिमिटेड (एमएसआईएल) ने भारत में ऑपरेशन शुरू करने के बाद से अब तक 30 लाख
गाड़ियों को निर्यात करने का नया कीर्तिमान हासिल किया है।
कंपनी ने
सोमवार को बयान जारी कर कहा कि 30 लाखवां ऐतिहासिक वाहन रविवार को गुजरात
के पिपावाव बंदरगाह से रवाना हुई 1,053 यूनिट्स की खेप का हिस्सा था,
जिसमें सेलेरियो, फ्रोंक्स, जिम्नी, बलेनो, सियाज, डिजायर और एस-प्रेसो
जैसे मॉडल शामिल थे।
मारुति सुजुकी के एमडी और सीईओ, हिसाशी ताकेउची ने
कहा, "भारत से हमारा निर्यात 4 साल पहले की तुलना में 3 गुना बढ़ गया है।
मारुति सुजुकी ने 2030-31 तक वाहन निर्यात में विविधता लाने और इसे आगे
बढ़ाकर 7.5 लाख यूनिट्स करने का लक्ष्य तय किया है।"
मारुति सुज़ुकी ने 1986 में भारत से वाहनों का निर्यात शुरू किया था। 500
कारों की पहली बड़ी खेप सितंबर 1987 में हंगरी भेजी गई थी।
कंपनी ने
वित्त वर्ष 2012-13 में 10 लाख वाहन निर्यात करने का पहला माइलस्टोन हासिल
किया था। इसके बाद वित्त वर्ष 2020-21 में 9 साल से भी कम समय में अगले 10
लाख यूनिट्स निर्यात का आंकड़ा छू लिया। कंपनी ने अगले 10 लाख यूनिट्स यानी
20 लाख से 30 लाख यूनिट्स निर्यात का आंकड़ा महज 3 साल और 9 महीने में छू
लिया है।
ताकेउची ने कहा, "30 लाख यूनिट्स का संचयी निर्यात भारत की
ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चरिंग एक्सीलेंस को दर्शाता है और वैश्विक मंच पर
ब्रांड इंडिया का एक शानदार उदाहरण है। हम निर्यात वृद्धि को बढ़ाने के लिए
कुछ बाजारों के साथ उत्साहजनक नीतियों और व्यापार समझौतों को लागू करने के
लिए भारत सरकार को धन्यवाद देते हैं।
"उन्होंने आगे कहा, "भारत सरकार
के फ्लैगशिप 'मेक इन इंडिया' इनिशिएटिव के साथ जुड़कर मारुति सुजुकी
स्थानीयकरण और निर्यात बढ़ाने को लेकर प्रतिबद्ध है। मौजूदा समय में भारत
से निर्यात किए जाने वाले यात्री वाहनों में से 40 प्रतिशत मारुति सुजुकी
के हैं, जो हमें देश में नंबर एक वाहन निर्यातक बनाता है।
वित्त वर्ष
2024-25 में अप्रैल-अक्टूबर की अवधि में मारुति सुजुकी ने 1,81,444 यूनिट्स
का निर्यात किया, जो पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में 17.4 प्रतिशत
अधिक है। वर्तमान में कंपनी लगभग 100 देशों में 17 मॉडल निर्यात करती है।
अमेरिका, अफ्रीका, एशिया और मध्य पूर्व कंपनी के लिए महत्वपूर्ण निर्यात
बाजार हैं।
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